सरकारी अस्पतालों में उपलब्ध है जांच व उपचार का इंतजाम, नियमित करायें जांच

अररिया, रंजीत ठाकुर। आंख हमारे शरीर का एक महत्वपूर्ण अंग है। जो न सिर्फ किसी चीज को देखने बल्कि उसकी पहचान सुनिश्चित कराने में मददगार है। इतना ही नहीं आंखें शरीर में किसी प्रकार की बीमारी का हमें पहला संकेत देता है। लिहाजा अपनी आंखों की सेहत का ध्यान रखना हर एक व्यक्ति के लिये जरूरी है। बावजूद इसके आमतौर पर लोग आंखों की सेहत को नजरअंदाज करते हैं। आंखों की सेहत के प्रति लोगों की उदसीनता के कारण आज अल्पदृष्टि व दृष्टिहीनता के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। डिजिटल स्क्रीन से निरंतर संपर्क, काम का दबाव, अनियमित खान-पान सहित ऐसे कई कारण हैं। जो हमारी आंखों की सेहत को तेजी से प्रभावित कर रहा है। बूढ़े-बुजुर्ग ही नहीं कम उम्र के बच्चे भी इसका तेजी से शिकार हो रहे हैं। लिहाजा आंखों की सेहत के प्रति लोगों का जागरूक होना जरूरी है।

कई कारणों से बढ़ रहा है नेत्र जनित विकार सिविल सर्जन डॉ विधानचंद्र सिंह बताते हैं कि वर्तमान दौर में लोग अपना अधिकांश समय लैपटॉप, कंप्यूटर, मोबाइल, टेलीविजन स्क्रीन के सामने बिताते हैं। इससे बच्चे भी अछूते नहीं। स्वभाविक है कि लंबे समय तक डिजिटल स्क्रीन के संपर्क में रहने के कारण आंखों को बहुत अधिक तनाव सहना पड़ता है। इसके हानिकारक प्रभावों में ड्राई आई प्रमुख है। जो बाद में नेत्र संबंधी कई अन्य रोगों की वजह बनता है। धूम्रपान, शराब, अस्वास्थ्यकर जीवनशैली व भोजन के साथ-साथ शरीर में ग्लूकोज का अनियंत्रित स्तर नेत्र संबंधी विकारों को बढ़ावा दे रहा है।

सिविल सर्जन ने बताया जिले के प्रमुख चिकित्सा संस्थानों में नेत्र संबंधी रोगों की जांच व उपचार का इंतजाम उपलब्ध है। हेल्थ एंड वेलनेस सेंटरों पर भी नियमित रूप से शिविर आयोजित कर आम ग्रामीणों को नेत्र रोगों की जांच, उपचार सहित जरूरी दवाएं नि:शुल्क उपलब्ध करायी जा रही है। इतना ही नहीं सदर अस्पताल में आंख संबंधी विभिन्न रोग की जांच व इलाज के साथ मोतियाबिंद जैसे आंखो की सामान्य बीमारी के उपचार को लेकर ऑपरेशन की सुविधा भी उपलब्ध है।

नियमित अंतराल पर करायें आखों की जांच
एसीएमओ डॉ राजेश कुमार बताते हैं कि आंखों से जुड़ी किसी तरह की दिक्कत को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिये। प्रारंभिक अवस्था में आंखों से जुड़ी मामूली समस्या भी आगे चल कर गंभीर रूप ले सकता है। इसलिये समय-समय पर आंखों की जांच जरूरी है। मधुमेह रोगियों के मामले तो ये और भी जरूरी हो जाता है। अनियंत्रित डायबिटीज आंखों की सेहत को गंभीर रूप से प्रभावित करता है।

इसलिये उन्हें नियमित अंतराल पर अपने आंखों की जांच कराने की जरूरत होती है। आंखों की सेहत के लिये उचित खानपान, आराम व व्ययाम जरूरी होता है। आंखों को सेहतमंद बनाये रखने के लिये समय-समय पर साफ पानी से इसे धोना लाभकारी होता है। आंख में कोई चीज पड़ जाने से आंखों को रगड़ने से बचें, किसी तरह के नेत्र संक्रमण की स्थिति में चेहरे व आंख को छूने से परहेज करना जरूरी है। आंख से जुड़ी किसी तरह की समस्या सामने आने पर तत्काल नजदीकी अस्पताल में विशेषज्ञ चिकित्सक की देखरेख में इलाज कराना जरूरी है।

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डिजिटल स्क्रीन से अत्यधिक इस्तेमाल से करें परहेज

आंखों के बेहतर स्वास्थ्य के लिये डिजिटल स्क्रीन से अत्यधिक इस्तेमाल से परहेज जरूरी है। इसके लिये 20-20-20 नियम को महत्वपूर्ण माना जाता है। इसके मुताबिक कंम्यूटर, टैबलेट या अन्य किसी डिजिटल स्क्रीन पर 20 मिनट समय बिताने के बाद कम से कम 20 फीट की दूरी पर स्थित किसी वस्तु पर 20 सेकेंड तक आंखों को फोकस करने की सलाह दी जाती है। आंखों की सेहत के लिये विटामिन ए से भरपूर आहार जैसे पपीता, आम, अंडे, हरी पत्तेदार सब्जी व मछलियों का नियमित सेवन महत्वपूर्ण होता है।

आंखों की सेहत के लिये करें ये उपाय –

-तेज रोशनी से बचें, सूर्य या किसी अन्य चमकीली वस्तु को देखेने से बचें
-बिना धूप के चश्मा के खुली धूप में न निकलें,
-आई ड्राप, आई मेकअप का सामान एक-दूसरे से साझा करने से बचें
.आंखों के संक्रमण से बचाव के लिये हाथों की नियमित सफाई जरूरी है
नियमित अंतराल पर साफ पानी से करें आंखों की सफाई
थोड़े-थोड़े अंतराल पर साफ पानी से करें आंखों की सफाई

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